केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) द्वारा 29 सितंबर 2025 को जारी आंकड़ों के अनुसार, देश के 48.6% शहरों में हवा साफ है, जबकि 41.7% शहरों में वायु गुणवत्ता संतोषजनक है।
हालांकि, 9.7% शहरों में स्थिति चिंताजनक बनी हुई है। बठिंडा देश का सबसे प्रदूषित शहर रहा, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 166 दर्ज किया गया, जो मध्यम श्रेणी में है।
दूसरी ओर, शिलांग की हवा सबसे साफ रही, जहां AQI केवल 8 रिकॉर्ड किया गया। दिल्ली में प्रदूषण में कमी आई है, लेकिन वायु गुणवत्ता अभी भी मध्यम श्रेणी में है।
बठिंडा में प्रदूषण की गंभीर स्थिति
आंकड़ों के मुताबिक, बठिंडा में प्रदूषण का स्तर विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की सुरक्षित सीमा से 269% अधिक है। यहां हवा में पीएम10 (मोटे कण) का स्तर हावी रहा, जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।
हालांकि, कल के 175 AQI की तुलना में बठिंडा में प्रदूषण में 9 अंकों की कमी आई है। इसके बावजूद, वहां की हवा बीमारियां फैलाने के लिए पर्याप्त जहरीली है।
शिलांग की हवा सबसे साफ
शिलांग में AQI 8 के साथ देश की सबसे स्वच्छ हवा दर्ज की गई। बठिंडा की तुलना में शिलांग की हवा 20 गुना बेहतर है।
वायु गुणवत्ता सूचकांक का मतलब
AQI 0-50: साफ हवा
AQI 51-100: संतोषजनक
AQI 101-200: मध्यम
AQI 201-300: खराब
AQI 301-400: बहुत खराब
AQI 401-500: गंभीर
गंभीर स्थिति में हवा स्वस्थ लोगों को भी नुकसान पहुंचा सकती है और बीमार लोगों के लिए जानलेवा हो सकती है।
अन्य प्रमुख शहरों का हाल
- मुंबई: AQI 47 (बेहतर)
- लखनऊ: AQI 72 (संतोषजनक)
- चेन्नई: AQI 79 (संतोषजनक)
- हैदराबाद: AQI 65 (संतोषजनक)
- जयपुर: AQI 67 (संतोषजनक)
- पटना: AQI 98 (संतोषजनक)
- गाजियाबाद: AQI 113 (मध्यम)
- ग्वालियर: AQI 70 (संतोषजनक)
