राजस्थान में रबी यानी सर्दियों की फसलों की बुवाई का काम अक्टूबर में शुरू हुआ था, जो अब लगभग पूरा हो चुका है। कृषि विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि राज्य में मुख्य रबी फसलों की 85 प्रतिशत से अधिक बुवाई हो चुकी है।
गेहूं की बुवाई 88% पूरी
सरकारी आंकड़ों के अनुसार, इस साल 9 दिसंबर तक राज्य में गेहूं की 88 प्रतिशत बुवाई पूरी हो चुकी है। 3.2 मिलियन हेक्टेयर के लक्ष्य के मुकाबले अब तक 2.8 मिलियन हेक्टेयर में गेहूं की बुवाई हो चुकी है।
जौ का लक्ष्य पार, 105% बुवाई पूरी
जौ की बुवाई इस बार लक्ष्य से अधिक हुई है। 380,000 हेक्टेयर के लक्ष्य के मुकाबले 400,000 हेक्टेयर में जौ बोया गया है, जो लक्ष्य का 105 प्रतिशत है।
चना और सरसों की स्थिति
चना की बुवाई भी अच्छी प्रगति पर है। इस साल 2.25 मिलियन हेक्टेयर के लक्ष्य के मुकाबले 1.96 मिलियन हेक्टेयर (87 प्रतिशत) में चने की बुवाई हो चुकी है।
सरसों, जिसमें राजस्थान देश का सबसे बड़ा उत्पादक है, की बुवाई लक्ष्य का 81 प्रतिशत पूरी हुई है। 4.05 मिलियन हेक्टेयर के लक्ष्य के मुकाबले अब तक 3.27 मिलियन हेक्टेयर में सरसों बोई गई है।
किसानों को बारिश का इंतजार
जयपुर जिले के सांगानेर के किसान रामगोपाल चौधरी ने बताया कि अब किसान सर्दियों की बारिश का इंतजार कर रहे हैं। उनका कहना है कि बारिश होने पर फसलें तेजी से बढ़ेंगी और अच्छे नतीजे देंगी।
दीपावली के बाद बारिश न होने से किसान चिंतित हैं। रामगोपाल ने कहा, “बारिश होने से तापमान गिरेगा और फसलों की उत्पादकता बढ़ेगी।”
व्यापारियों का नजरिया
जयपुर के सरसों व्यापारी अनिल चत्तर ने बताया कि सरसों की बुवाई पिछले साल की तुलना में 5 प्रतिशत कम हुई है, लेकिन फसल की स्थिति अभी तक अच्छी है। उन्होंने कहा कि यदि सर्दियों की बारिश इस समय होती है, तो सरसों की फसल बेहतर उत्पादन देगी।
आर्थिक और मौसमीय प्रभाव
राजस्थान के किसान इस समय अच्छी फसल की उम्मीद कर रहे हैं, लेकिन बारिश की कमी के चलते उनकी चिंता बढ़ रही है। कृषि विशेषज्ञों का मानना है कि अगर मौसम ने साथ दिया, तो इस साल की रबी फसलें किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो सकती हैं।