देश में वायु प्रदूषण का स्तर कई शहरों में चिंताजनक बना हुआ है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के 29 जून 2025 के आंकड़ों के अनुसार, गुजरात के नंदेसरी में लगातार तीसरे दिन वायु प्रदूषण सबसे अधिक दर्ज किया गया।
यहां वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 208 रहा, जो विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मानकों से 1287% अधिक खराब है। हालांकि, पिछले दिन की तुलना में नंदेसरी में AQI में 9 अंकों का सुधार हुआ है, जब यह 217 था।
प्रमुख शहरों में प्रदूषण की स्थिति
नंदेसरी के बाद मेघालय का बर्नीहाट दूसरे स्थान पर है, जहां AQI 151 रहा, जो WHO मानकों से 900% अधिक खराब है। लुधियाना (AQI 133) तीसरे, थूथुकुडी (AQI 127) चौथे, और खुर्जा (AQI 119) पांचवें स्थान पर है।
देश के दस सबसे प्रदूषित शहरों में मंडी गोबिंदगढ़ (AQI 116), विशाखापत्तनम (AQI 116), छपरा (AQI 113), इंफाल (AQI 112), और सहरसा (AQI 109) शामिल हैं।
विश्लेषण से पता चला है कि नंदेसरी, बर्नीहाट, लुधियाना, और समस्तीपुर में महीन कणों (PM2.5) के कारण प्रदूषण गंभीर है। खुर्जा, विशाखापत्तनम, सहरसा, और अररिया में भी PM2.5 का स्तर चिंताजनक है, जबकि थूथुकुडी, मंडी गोबिंदगढ़, और श्रीगंगानगर में कार्बन उत्सर्जन के कारण स्थिति खराब है।
साफ हवा वाले शहर
दूसरी ओर, आइजोल और कोयंबटूर में देश की सबसे साफ हवा दर्ज की गई, जहां AQI केवल 9 रहा। नंदेसरी की तुलना में कोयंबटूर की हवा 22 गुना साफ है।
इसके अलावा, 105 अन्य शहरों जैसे देहरादून, धुले, डूंगरपुर, दुर्गापुर, फिरोजाबाद, गांधीनगर, गंगटोक, गोरखपुर, हल्दिया, हावड़ा, इंदौर, जबलपुर, कोलकाता, और मैसूर में भी AQI 50 से नीचे रहा, जो ‘बेहतर’ श्रेणी में आता है। अच्छी खबर यह है कि पिछले दिन की तुलना में साफ हवा वाले शहरों की संख्या में 13% की वृद्धि हुई है।
दिल्ली में सुधार, लेकिन चिंता बरकरार
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में प्रदूषण के स्तर में 14 अंकों की कमी आई है, और AQI 83 पर पहुंच गया, जो ‘संतोषजनक’ श्रेणी में है। दिल्ली के अलावा 93 अन्य शहरों जैसे लखनऊ, मुंबई, पुणे, नोएडा, पटना, और कोटा में भी हवा संतोषजनक रही। हालांकि, संतोषजनक हवा वाले शहरों की संख्या में 15% की कमी दर्ज की गई है।
मध्यम श्रेणी के शहर
अररिया सहित 12 शहरों में AQI 101-200 के बीच रहा, जो ‘मध्यम’ श्रेणी में आता है। इनमें बर्नीहाट, छपरा, इंफाल, खुर्जा, लुधियाना, मंडी गोबिंदगढ़, और विशाखापत्तनम शामिल हैं। पिछले दिन की तुलना में मध्यम AQI वाले शहरों की संख्या में 33% की वृद्धि हुई है।
आंकड़ों का विश्लेषण
सीपीसीबी के अनुसार, देश के 213 शहरों में से 106 में AQI 0-50 (‘बेहतर’), 94 में 51-100 (‘संतोषजनक’), और 12 में 101-200 (‘मध्यम’) रहा। नंदेसरी में स्थिति सबसे खराब रही, जहां AQI 208 दर्ज किया गया।
दिल्ली में पिछले चार महीनों (जनवरी-एप्रिल 2025) में एक भी दिन ऐसा नहीं रहा, जब हवा ‘बेहतर’ श्रेणी में रही हो। नवंबर 2024 में 8 दिन और दिसंबर 2024 में 6 दिन AQI ‘गंभीर’ श्रेणी में था, जिससे सांस लेना तक मुश्किल हो गया था।
अन्य प्रमुख शहरों की स्थिति
- ग्वालियर: AQI 57 (संतोषजनक)
- गाजियाबाद: AQI 73 (संतोषजनक)
- गुरुग्राम: AQI 53 (संतोषजनक)
- नोएडा: AQI 75 (संतोषजनक)
- मुंबई: AQI 55 (संतोषजनक)
- लखनऊ: AQI 70 (संतोषजनक)
- चेन्नई: AQI 65 (संतोषजनक)
- हैदराबाद: AQI 71 (संतोषजनक)
- पटना: AQI 84 (संतोषजनक)
वायु गुणवत्ता सूचकांक का अर्थ
- 0-50: बेहतर (साफ हवा)
- 51-100: संतोषजनक
- 101-200: मध्यम
- 201-300: खराब
- 301-400: बहुत खराब
- 401-500