environmentalstory

Home » जैसलमेर में सड़क हादसे में वन्यजीव प्रेमी राधेश्याम विश्नोई सहित चार लोगों की दुखद मौत

जैसलमेर में सड़क हादसे में वन्यजीव प्रेमी राधेश्याम विश्नोई सहित चार लोगों की दुखद मौत

by kishanchaubey
0 comment

जैसलमेर, राजस्थान के लाठी थाना क्षेत्र में शुक्रवार रात (23 मई, 2025) को एक दर्दनाक सड़क हादसे में मशहूर वन्यजीव प्रेमी और वाइल्डलाइफ फोटोग्राफर राधेश्याम विश्नोई समेत चार लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। यह हादसा रात करीब 9:30 बजे लाठी थाने से लगभग 500 मीटर की दूरी पर हुआ। शनिवार को शवों का पोस्टमॉर्टम करने के बाद उनका अंतिम संस्कार कर दिया गया।

क्या हुआ हादसा?
लाठी थाना प्रभारी राजेंद्र सिंह ने बीबीसी को बताया, “राधेश्याम विश्नोई और उनके साथी एक कैंपर गाड़ी में सवार थे। वे एक गाय को बचाने की कोशिश कर रहे थे, तभी सामने से आ रहे एक ट्रक से उनकी गाड़ी टकरा गई।” इस भीषण टक्कर में राधेश्याम विश्नोई (28 वर्ष), उनके सहयोगी श्याम विश्नोई, कंवरराज सिंह भाटी और वन रक्षक सुरेंद्र चौधरी की मौके पर ही मौत हो गई।

हिरण बचाने की कोशिश में हुआ हादसा
जानकारी के अनुसार, राधेश्याम विश्नोई को हिरणों के शिकार की सूचना मिली थी। वे अपने दो सहयोगियों, श्याम विश्नोई और कंवरराज सिंह भाटी, के साथ हिरणों को बचाने के लिए निकले थे। उनके साथ वन विभाग का एक रक्षक सुरेंद्र चौधरी भी गाड़ी में सवार था। इसी दौरान यह हादसा हुआ।

राधेश्याम विश्नोई: वन्यजीवों के लिए समर्पित जीवन
जैसलमेर के धौलिया गांव के रहने वाले 28 वर्षीय राधेश्याम विश्नोई पूरे क्षेत्र में अपनी वन्यजीव संरक्षण के प्रति निष्ठा के लिए जाने जाते थे। स्थानीय पत्रकार चंदन भाटी ने बीबीसी को बताया, “राधेश्याम एक प्रेरणादायक व्यक्तित्व थे। उन्होंने वन्यजीवों और पक्षियों के लिए जैसलमेर क्षेत्र में 800 से ज्यादा पानी के गड्ढे (पौंड) बनवाए थे। वे लगभग 1,000 हिरणों, गोडावण (ग्रेट इंडियन बस्टर्ड) और अन्य जानवरों को बचाने में सफल रहे थे।”

banner

राधेश्याम की वाइल्डलाइफ फोटोग्राफी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मशहूर थी। उनकी तस्वीरें न केवल लोगों के दिलों को छूती थीं, बल्कि उन्हें कई पुरस्कारों से भी सम्मानित किया गया था। उनका पूरा जीवन वन्यजीवों की रक्षा और उनके संरक्षण के लिए समर्पित था।

सोशल मीडिया पर शहीद का दर्जा देने की मांग
थाना प्रभारी राजेंद्र सिंह ने बताया कि राधेश्याम विश्नोई की लोकप्रियता और उनके कार्यों के कारण सोशल मीडिया पर लोग उन्हें शहीद का दर्जा देने की मांग कर रहे हैं। हालांकि, अभी तक पुलिस या प्रशासन के पास इस संबंध में कोई औपचारिक मांग नहीं आई है।

नेताओं ने जताया दुख
इस दुखद घटना पर राजस्थान के मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गहरा शोक व्यक्त किया है। दोनों नेताओं ने सोशल मीडिया के जरिए राधेश्याम और अन्य मृतकों के प्रति संवेदना जताई और उनके परिवारों के प्रति समर्थन व्यक्त किया।

राधेश्याम का योगदान: एक मिसाल
चंदन भाटी ने आगे बताया, “राधेश्याम का वन्यजीव प्रेम और उनका जुनून इस क्षेत्र के लिए एक मिसाल है। उन्होंने न केवल जानवरों को बचाया, बल्कि उनके लिए बेहतर पर्यावरण बनाने की दिशा में भी काम किया। उनके बनाए पानी के गड्ढों ने रेगिस्तानी इलाके में जानवरों और पक्षियों के लिए जीवन रेखा का काम किया।”

You may also like